- विधायक शर्मा ने यूडीएच मंत्री और जेडीसी से की मुलाकात, चिंताओं से कराया अवगत
जयपुर। खातीपुरा तिराहे के पास देर रात दुकानों और मकानों पर जेडीए द्वारा नोटिस चस्पा किए जाने के बाद विवाद बढ़ गया। स्थानीय लोगों ने हाईकोर्ट के आदेश का हवाला देते हुए जेडीए की कार्रवाई का विरोध किया। इस दौरान आपसी झड़प भी हुई, जिसमें कुछ नागरिकों को चोटें आईं। इस घटना से आक्रोशित लोगों ने सड़क पर प्रदर्शन शुरू कर दिया। व्यापारियों ने बाजार बंद कर दिए और सड़क रोक दी।
घटना की जानकारी मिलते ही सिविल लाइंस विधायक गोपाल शर्मा ने यूडीएच मंत्री झाबर सिंह खर्रा से मुलाकात करके पूरे मामले से अवगत करवाया। उन्होंने जेडीए द्वारा गुपचुप तरीके से बैक डेट के नोटिस दिए जाने को लेकर असंतोष व्यक्त किया। खर्रा ने विषय की गंभीरता को स्वीकार किया। इसके बाद दोनों ने जेडीसी से भी मुलाकात की और विधिसम्मत कार्रवाई करने की नसीहत दी।
इसके बाद विधायक शर्मा प्रदर्शन स्थल पर पहुंचे। उन्होंने धरने पर बैठे व्यापारियों को आश्वस्त किया कि सरकार हर कदम पर उनके साथ है और किसी के साथ अन्याय नहीं होने दिया जाएगा। इसके बाद व्यापारियों ने धरना खत्म किया।
वहीं, दोपहर में इस मामले में राजस्थान हाईकोर्ट की जयपुर बेंच में सुनवाई हुई। सभी पक्षों को सुनने के बाद न्यायालय ने जेडीए को प्रभावित लोगों के दस्तावेजों का विस्तारपूर्वक अवलोकन करने का निर्देश देते हुए याचिका का निस्तारण कर दिया।
कोर्ट का फैसला स्वागत योग्य : विधायक गोपाल शर्मा
“हाईकोर्ट ने खातीपुरा तिराहे के आसपास कथित अतिक्रमण को लेकर जो निर्णय दिया, वह स्वागत योग्य है। इस क्षेत्र में स्पष्ट रूप से नजर आता है कि कांग्रेस शासन के दौरान कुछ प्रभावशाली लोगों ने सरकारी जमीन और सड़क पर अतिक्रमण करके निर्माण कर रखा है। इस अतिक्रमण को बचाने के लिए कुछ प्रभावशाली लोगों द्वारा स्थानीय आमजन की दुकानों और मकानों को चिह्नित करके तुड़वाने के लिए दवाब बनाया जा रहा है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार में इस प्रकार का भेदभाव नहीं चल पाएगा। न्याय जनता के साथ है और जनता की ही विजय होगी।”