November 24, 2024
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जयपुर 26 जुलाई 2022 पुलिस उपायुक्त दक्षिण योगेश गोयल ने बताया कि व्यवसायी नरेंद्र शर्मा निवासी वैशाली नगर जयपुर जो रोड कंस्ट्रक्शंस कांट्रेक्टर है ने दिनांक 11 मई को पुलिस थाना शिप्रापथ पर लिखित में रिपोर्ट दर्ज कराई कि उसको रोहित गोदारा बीकानेर ने व्हाट्सएप कॉल के जरिए अंतरराष्ट्रीय दूरभाष नंबरों से धमकी दी है और कहा कि तुम मुस्ताक खान, शंकर सिंह, संदीप सिंह व शिवराज सिंह को 17 करोड़ दे देना नहीं तो तुझे जान से खत्म कर दूंगा।

इस संबंध में पूर्व में मुस्ताक खान शंकर सिंह संदीप सिंह व शिवराज सिंह व अन्य बदमाशों के साथ उनके कार्यालय पर आए और उसके कर्मचारियों के साथ कार्यालय में जबरन घुसकर कार्यालय कर्मचारियों के साथ मारपीट की और 17 करोड़ नहीं देने पर उसे जान से मारने की धमकी दी ।

इस संबंध में पुलिस थाना क्षिप्रापाथ पर अभियोग संख्या 349/2022 धारा 384 452 341 323 506 120 बी आईपीसी दर्ज कर अनुसंधान प्रारंभ कर दिया गया। परिवादी उत्तर भारत में सड़क निर्माण के ठेके लेकर कार्य करवा रहा था जिसके बतौर पेटी ठेकेदार आरोपी मुस्ताक खां, शंकर सिंह,वीरेंद्र सिंह आदि कार्य कर रहे थे। उक्त कार्य को लेकर परिवादी एवम आरोपी गणों में भुगतान संबंधी विवाद चल रहा था तो आरोपीगणों ने गैंगस्टर रोहित गोदारा से बात कर परिवादी को व्हाट्सएप कॉल के जरिए धमकी दिलवाई पूर्व में इस प्रकरण में गैंगस्टर रोहित गोदारा के 3 गुर्गे शिव सिंह भलूरी उर्फ शिवजी, संदीप स्वामी एवं नवरत्न शर्मा को गिरफ्तार कर लिया गया था जो अभी न्यायिक अभिरक्षा में चल रहे हैं।
इसी दौरान गैंगस्टर रोहित गोदारा ने पुनः परिवादी नरेंद्र शर्मा को इस प्रकरण के नामजद आरोपी मुस्ताक वगैरह को 17 करोड़ रुपए देकर समझौता करले वरना नरेंद्र शर्मा व उसके परिवार को जान से हाथ धोना पड़ेगा । परिवादी ने इसकी जानकारी उच्च अधिकारियों को देते हुए अपनी सुरक्षा की गुहार लगाई मामले की गंभीरता को मध्य नजर रखते हुए अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त दक्षिण भारत लाल मीणा के निर्देशन में सहायक पुलिस आयुक्त मानसरोवर जयपुर दक्षिण हरि शंकर आईपीएस एवं थानाधिकारी शिप्रा पथ महावीर सिंह राठौड़ के नेतृत्व में पुलिस टीम गठित कर रोहित गोदारा से मीटिंग करवाने एवं सौदा तय करवाने में भूमिका निभाने वाले गोदारा के साथी आरोपीयों राकेश मेहता, शिवराज सिंह शेखावत, मुकेश कुमार यादव, बलदेव यादव, अमरजीत विश्नोई को तलाश कर 25 जुलाई को गिरफ्तार किया गया। अपराध में संलिप्तता के संबंध में अनुसंधान जारी है इनको न्यायालय में पेश किया जाएगा।
इस प्रकरण में शिप्रा पथ थाना अधिकारी महावीर सिंह राठौर, सहायक उप निरीक्षक राजेंद्र सिंह हेड कांस्टेबल, राजेश कुमार, नरेंद्र सिंह राजावत कांस्टेबल, जयदेव सिंह रत्नु कांस्टेबल, रामेश्वर कांस्टेबल तथा अमित कुमार कांस्टेबल और टीम पुलिस थाना शिप्रा पथ की विशेष भूमिका रही है।